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किसान का बेटा बना IAS अफसर, पापा- मम्मी को अपनी कुर्सी पर बिठाकर किया सम्मानित
अपनी ग्रेजुएशन की डिग्री लेने के बाद उन्होंने आईआईटी दिल्ली से ट्रांसपोर्टेशन इंजीनियरिंग में एम.टेक की डिग्री हासिल की। इसके बाद हितेश को महसूस हुआ कि उन्हें एक बार यूपीएससी की परीक्षा देनी चाहिए और फिर क्या, उन्होंने सिविल सर्विस परीक्षा के लिए पढ़ाई शुरू करने का फैसला किया।
आपको बता दें, हितेश ने अपने पहले दो प्रयासों (2016) और (2017) में प्रीलिम्स और मेन्स दोनों परीक्षाएं पास कर ली थी। ये उनके लिए बड़ी बात थी, लेकिन किस्मत को कुछ और मंजूर था। हितेश प्रीलिम्स और मेन्स में पास होने के बावजूद फाइनल लिस्ट में जगह नहीं बना पाएं थे। जिसके बाद उन्होंने हार नहीं मानी और अपनी हिम्मत को बांधते हुए तीसरे प्रयास देने का विचार किया। साल 2018 में उन्होंने तीसरा प्रयास दिया और यूपीएससी प्रीलिम्स, मेन्स, इंटरव्यू में सफलता हासिल की। बता दें, तीसरे प्रयास में उनकी 417वीं रैंक आई थी और फाइल लिस्ट में 977 अंक प्राप्त हुए थे। वर्तमान में, हितेश हरियाणा कैडर गुरुग्राम में एडिशनल डिप्टी कमिश्नर कम डिस्ट्रिक्ट सिटीजन रिसोर्स इंफॉर्मेशन ऑफिसर के पद पर कार्यरत हैं।